राजस्थान का राज्य पक्षी तथा ग्रेट इंडियन बर्ड के नाम से विख्यात पक्षी गोडावण अपनी शारीरिक बनावट और अपने विचार शरीर और रंग रूप के लिए प्रसिद्ध है आज के इस आर्टिकल के माध्यम से हम राजस्थान के राज्य पक्षी गोडावण के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त करेंगे।
गोडावण पर निबंध Essay on Godavan In Hindi
गोडावण को सोने की चिड़िया के नाम से जाना जाता है.ये समय-समय पर हुक-हुक आवाज निकालती है.इसलिए इसे स्थानीय भाषा में हुकना भी कहते है.गोडावण अपना घोंसला जमीन पर घास में ही बनाती है.गोडावण एक बार में एक ही अंडा देती है.जिसका लेरंग रंग सफ़ेद होता है.
गोडावण एकमात्र ऐसा पक्षी है जो ऊंट की भांति बिना पानी पिए कई दिनों तक रह सकता है तथा हर परिस्थिति में अनुकूल रहता है।
गोडावण एक सर्वाहारी पक्षी है यह कभी-कभी अनाज का कर अपना पेट भरता है तथा कभी-कभी सांप और कीड़े मकोड़ों को खाकर अपना पेट भरता है।
राजस्थान के मरुस्थल के सबसे बड़े पार्क डेजर्ट नेशनल पार्क मैं सर्वाधिक संख्या गोडावण की है और इसी कारण मरुस्थल में अन्य जिलों की तुलना में गोडावण अधिक पाई जाती है।
राजस्थान के राज्य पक्षी गोडावण के संरक्षण के लिए राजस्थान सरकार नए नियम कानून कायदे बना रही है और इनके प्रजनन को बढ़ावा देने के लिए भी प्रदान किए जा रहे हैं। हमारी सरकार के प्रयासों के बदौलत आज गोडावन की प्रजाति देखने को मिल रही है।
गोडावण ही नहीं बल्कि हमें आज के समय में सभी जीव जंतु और पशु पक्षियों के संरक्षण की जरूरत है। तथा पक्षियों के घर वन का सरक्षण भी जरुरी है.इसके लिए हम सब को जागरूक होना जरुरी है.
उम्मीद करता हूँ, दोस्तों आज का हमारा लेख गोडावण पर निबंध Essay on Godavan In Hindi आपको पसंद आया होगा.यदि लेख अच्छा लगा तो इसे अपने दोस्तों के साथ शेयर करें. तथा पशु-पक्षियों का सरंक्षण करें. और सभी को जागरूक करें.